रोटी गोलाकार गेहूँ के आटे से तैयार एक खाद्य सामग्री है। तरह-तरह के व्यंजन का आनंद इसके बिना बेकार है। विभिन्न प्रकार के लाजवाब व्यंजनों के साथ इसका मेल अनूठा है। रोटी कई प्रकार, आकार और विभिन्न सामग्रियों से मिलकर तैयार होती है । रोटी शब्द संस्कृत के रोटिका से बना है।
उत्तर भारत मे मूलतः यही भोजन का मुख्य भाग है। रोटी कई नामों से जानी जाती है जैसे – फुल्का, चपाती, टिक्कड़ आदि । देखा जाए तो रोटी के तीन रूप है पहला सिकी हुई रोटी दूसरी घी ओर तेल व घी मे सिकी रोटी जिसे परांठा कहते हैं , तीसरी घी ओर तेल मे तलकर बनाई जाती है जिसे पूरी और भटूरा कहते हैं ।
रोटी और रोटी के प्रकार
कश्मीरी रोटी
त्सोट या गिरदा एक मध्यम आकार की गोल रोटी है जो हर कश्मीरी नाश्ते की शान है। यह उँगलियों के निशान के साथ शीर्ष पर सुनहरी और तल पर सफेद होती है। इसे मुख्यतौर पर जैम व मक्खन के के साथ परोसा जाता है।
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सिंधी कोकी रोटी
सिंधी व्यंजनों का एक लोकप्रिय व्यंजन कोकी रोटी है। यह एक शानदार स्वाद और दिलचस्प बनावट के साथ दिखने वाली एक फ्लैटब्रेड है। यह गेहूं के आटे, बेसन, मसालों और जड़ी बूटियों का उपयोग करके बनाया जाने वाला नाश्ता है।
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हिमाचली बेडूआ और बबरु रोटी
बेदुआं व बेडूआ रोटी हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा घाटी क्षेत्र का एक अनोखा भरवां पराठा है। यह वास्तव में मसालेदार अरबी के साथ मक्की की रोटी है। अरबी की मसालेदार सब्जी को मक्की के आटे मे भरकर इस स्वादिष्ट भोजन को तैयार किया जाता है ।
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बबरू एक प्रकार की तली हुई फ्लैटब्रेड या पूरी है जो हिमाचल प्रदेश की है। यह पुरी काली उड़द दाल के भरावन के साथ गेहूं के आटे से बनाई जाती है। खाने मे अति स्वादिष्ट यह रोटी हिमाचल प्रदेश मे काली उड़द दाल से बनाई जाने वाली एक लोकप्रिय रोटी है। आप इसे एक प्रकार की पूरी या कचोरी समझ सकते है।
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मँड़ुए की रोटी
मंडुआ की रोटी एक स्वस्थ पहाड़ी व्यंजन ( रेसिपी) है जिसे आप अपने परिवार और दोस्तों के लिए बना सकते हैं। रागी के आटे को हरे प्याज़, गाजर, हरी मिर्च की पेस्ट, दही, नमक और पानी के साथ मिलाकर और गूंद कर यह आसान रेसिपी घर पर बनाई जा सकती है।
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सेल रोटी
सेल रोटी भारत के कुमाऊं क्षेत्र और नेपाल में एक पारंपरिक घरेलू अंगूठी के आकार की मीठी चावल की रोटी है। इसें ज्यादातर त्योहारों के दौरान बनाया जाता है। सिक्किम समेत दार्जिलिंग क्षेत्रों में व्यापक रूप से मनाए जाने वाले हिंदू त्यौहारों के दौरान सेल रोटी बनाई जाती है। इसको कुमाऊं में सिंघल के नाम से जाना जाता है।
सेल रोटी को चावल के आटे के साथ दूध, पानी, तेल, चीनी, घी, मक्खन, इलायची, लौंग, केले और पसंद के अन्य स्वादों वाली चीजों को मिलाकर इसका अर्ध-तरल तैयार किया जाता है। अर्ध-तरल आटा तैयार होने के बाद, इसे उबलते तेल या घी में डीप फ्राई किया जाता है।
नान और तंदूरी रोटी
नान एक प्रकार की रोटी है, जो पंजाब मे अत्यधिक लोकप्रिय है। नान एक ऐसी रोटी है जिसे आमतौर पर तंदूर (एक प्रकार का मिट्टी का चूल्हा ) मे ही बनाया जाता है। नान कई प्रकार के होते है । जैसे सादा नान, बटर नान , भरवा नान और चूर-चूर नान आदि ।
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तंदूरी रोटी जैसा की नाम से ही पता चलता है, तंदूर मे बनाई जाने वाली रोटी को तंदूरी रोटी कहते हैं इसे तंदूर(एक प्रकार का मिट्टी का चूल्हा ) मे हाथ की मदद से तैयार किया जाता है ।
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कुल्चा
कुल्चा खमीरी मैदा से तैयार एक प्रकार की रोटी है। कुल्चा एक प्रकार की रोटी है जिसे मुख्यतः छोलों व मटर से तैयार व्यंजन के साथ खाया जाता है। मटर कुल्चा दिल्ली का एक मशहूर व्यंजन है । उबले हुए मटर और कुलचे खाने मे बहुत स्वादिष्ट होते है । यह स्ट्रीट फूड की श्रेणी मे भी आता है ।
भटूरा
भटूरा खमीरी मैदा से तैयार एक तला हुआ व्यंजन है, जिसे चटपटे छोलों के साथ खाया जाता है। दिल्ली और पंजाब मे यह एक मशहूर व्यंजन है ।फुल्का व चपाती
उत्तर प्रदेश और दिल्ली मे मुख्य रूप से खाए जाने व्यंजन के तौर पर गेहूं के आटे से बनी रोटी जिसे फुल्का, चपाती आदि नामों से जाना जाता है। इसे दाल, सब्जी और चटनी आदि के साथ देशी घी लागकर परोसा जाता है।
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पराँठे
रोटी का घी व तेल मे सिका हुआ रूप परांठा कहलाता है । परांठा सादा व भरावन के साथ तैयार किया जाता है। सादे पराँठे के तौर पर नमक-अजवाइन का परांठा, घी का परतदार परांठा और लच्छा परांठा बहुत मशहूर है । भरवा पराठों मे आलू, मुली, प्याज, गोभी, मेथी के पराँठे बनाए जाता है। यहां इन पराँठों को स्वादानुसार आचार, चटनी, मक्खन और दही के साथ खाया जाता है । खाने मे यह बहुत ही स्वादिष्ट होते हैं ।
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पूरी / कचोरी व बेडमी
रोटी का घी मे तला हुआ रूप पूरी, कचोरी और बेडमी होता है । पूरी नमक अजवाइन डालकर तैयार की जाती है, जबकि कचोरी को विभिन्न प्रकार के भरवां के साथ तैयार किया जाता है । उड़द की दाल से तैयार यह पूरी बेडमी कहलाती है। जिसे आलू की रसदार सब्जी की साथ खाया जाता है । उत्तर प्रदेश मे बेडमी आलू एक लोकप्रिय व्यंजन हैं ।
खूबा रोटी
खूबा रोटी राजस्थान का व्यंजन है यह सामान्य रोटी से थोड़ी मोटी और कुरकुरी और बेहद स्वादिष्ट होती है. जब आपका मन कुछ नया और अलग खाने का हो तब इस रोटी को बनाइये . खोबा का अर्थ है इंडेंटेशन या कैविटी होता है। इस रोटी को कुछ इस तरह से बनाया जाता है कि इस के ऊपर कुछ कैविटीनुमा मार्क दिखाई देते हैं ।
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टिक्कड
टिक्कड रोटी को प्याज, अदरक, लहसुन की चटनी के साथ खाया जाता है। यह मुख्य रूप से मक्का और गेहूं के आटे के बराबर हिस्से के साथ बनाई गई एक अखमीरी फ्लैटब्रेड है और फिर कई मसालों और सब्जियों के साथ मसालेदार होती है। टिक्कड़ का शाब्दिक अर्थ है एक बड़ा 'टिकिया' या बाटी, जिसे अनिवार्य रूप से दाल के साथ जोड़ा जाता है। इसका मतलब कुछ ऐसा है जो आग पर पकाया जाता है। टिक्कड की सबसे अच्छी बात यह है कि इसे बनाने के लिए आपको किसी करी या सब्जी की जरूरत नहीं है।
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बेजर की रोटी
ऐसे तो रोटिया कई तरह से बनाई जाती है लेकिन राजस्थान में मुख्ये तौर पर लोग बेजर की रोटी खाना पसंद करते है। 3 पौष्टिक आटे से बनी, यह प्रोटीन युक्त रोटी भरपुर मात्रा में ऊर्जा और खाद्य रेशांक भी प्रदान करती है, जो इसे पौष्टिक व्यंजन बनाते हैं। इसमें ज़ीरा, हरी मिर्च का पेस्ट और हरे धनिया का स्वाद भरा जाता है, जो इसे बहुउपयोगी रोटी बनाता है जिसे किसी भी प्रकार की सब्ज़ी के साथ परोसा जाता है। बेजर रोटी एक पारंपरिक राजस्थानी रोटी है।
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बाजरे का सोगरा
बाजरे का सोगरा | राजस्थान मे बनाई जाने वाली बाजरे की मोटी रोटी को सोगरा कहते है पराम्परिक तौर पर सोगरा हाथों कि हथेलियों कि सहायता से बनाई जाती है और सोगरा को मिट्टी के तवे व चूल्हे पर ही बनाया जाता है। इसे खासतौर पर राजस्थानी व्यंजनों में बनाया जाता है। इसे आमतौर पर लंच या डिनर में लहसुन की चटनी और सब्जी के साथ परोसा जाता है। इसके अलावा, बाजरा रोटी स्वास्थ्य लाभ के लिए जानी जाती है। यह एक लस मुक्त, कम वसा और शाकाहारी रोटी है। इसके अलावा, इसे बनाना बहुत आसान है और सर्दियों या ठंडे मौसम में बनाना अच्छा है।
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थालीपीठ
यह महाराष्ट्रीयन चपाती दो अलग-अलग प्रकार के आटे- बाजरा और ज्वार से बनाई जाती है। आटे के साथ इसमें चावल, चना और मसाले भी होते हैं। कुछ लोग इसमें सब्जियां भी मिलाते हैं जो इसे और हेल्दी बनाती हैं। थालीपीठ को दही या घी के साथ परोसा जाता है। यह कर्नाटक के कुछ हिस्सों में भी बहुत लोकप्रिय है।
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पूरन पोली
चना दाल और चीनी से बनी फिलिंग से भरी चपटी रोटी की यह एक आसान रेसिपी है। आप बंगाल चना और गुड़ का भी उपयोग कर सकते हैं। मराठी भाषा में मीठी फिलिंग को पूरन और बाहरी ब्रेड को पोली कहते हैं। यह एक स्वादिष्ट साइड डिश है जिसमें भरपूर स्वाद होता है फिर भी यह बेहद आसान और जल्दी बन जाता है। आप इसको सुबह के नाश्ते मे और जब मन करे बनाकर कहा सकते हैं ।
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भाकरी
भाकरी एक गोल चपटी रोटी (रोटी) है जो अक्सर भारत में गुजरात, महाराष्ट्र, राजस्थान और कर्नाटक राज्यों के व्यंजनों में उपयोग की जाती है। ज्वार या बाजरा का उपयोग करके तैयार की गई भाकरी नियमित गेहूं की चपाती की तुलना में अधिक मोटी होती है।
दो पड़ वाली रोटी
दो पड़ वाली रोटी गुजरात की बहुत प्रसिद्ध रोटी है । यह एक पारंपरिक गुजराती रोटी है, जिसे आम के मौसम में आम के रस के साथ आनंद लेने के लिए अक्सर बनाया जाता है।
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थेपला
एक लोकप्रिय गुजराती व्यंजन है। इसे हम गुजराती पराठा भी कह सकते हैं । गेहूं के आटे, दही, तेल और ढेर सारी ताज़ी मेथी की पत्तियों से बनी रोटी 3-4 दिनों तक ताज़ा रहती है। मेथी की रोटी गुजराती यात्रियों में बहुत लोकप्रिय है। यात्रा के दौरान इसे खूब चाव के साथ खाया जाता है। इसका आनंद एक गर्म कप चाय व कॉफी के साथ भी लिया जा सकता है।
सत्तू की रोटी
सत्तू की रोटी बिहार की एक लस मुक्त भारतीय फ्लैटब्रेड है। सत्तू पिसे हुए अनाज और दालों से तैयार किया जाने वाला आटा है। सत्तू की रोटी का स्वाद बहुत ही स्वादिष्ट होता है और कोई भी इसका आनंद ले सकता है या आप इसे करी के साथ भी परोस सकते हैं।
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जनता रोटी
जनता रोटी जिसका अर्थ है 'पहले से पकी हुई रोटी', ओडिशा राज्य की एक नरम तरह की रोटी है। यह आटे को दूध और पानी में गाढ़ी स्थिरता में पकाकर बनाया जाता है, ठंडा किया जाता है और फिर रोटियों के रूप में बेल दिया जाता है। यह प्रक्रिया स्पष्ट रूप से पेट के लिए आसान बनाती है और वृद्ध और स्वस्थ होने वाले रोगियों को दी जाती है।
डिब्बा रोटी
आंध्रा की स्पेशल डिब्बा रोटी स्वादिष्ट और सेहतमंद दोनों है। आम तौर पर डिब्बे की रोटी काले चने-2.5 कप और 3 कप इडली रवा से बनती है। इडली बनाने के लिए इस्तेमाल किया हुआ घोल भी डिब्बा रोटी के लिए बनाया जा सकता है, लेकिन इसे रात भर बाहर खमीर उठने के लिए छोड़ कर थोड़ा खट्टा होना चाहिए. अगर आपको खट्टा पसंद नहीं है, तो इसे ताज़े पिसे हुए घोल से भी बनाया जा सकता है।
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रूमाली रोटी
यह एक पतली मुलायम रोटी है जिसे रूमाल की तरह मोड़ा जा सकता है जिसे हिंदी में 'रुमाल' भी कहा जाता है। यह रोटी अवधी, मुगलई और हैदराबादी व्यंजनों में काफी लोकप्रिय है। यह पूरे गेहूं और मैदा से बनाया जाता है और सफेद रंग का होता है। यह ग्रेवी के साथ सबसे अच्छा लगता है।
अक्की रोटी
पौष्टिक, समृद्ध और बेहद स्वादिष्ट, अक्की रोटी कर्नाटक की एक चपटी रोटी है जिसे बनाने के लिए किसी और चीज की जरूरत नहीं है। अक्की चावल का कन्नड़ नाम है और इसे चावल के आटे के साथ कद्दूकस की हुई सब्जियों और कई मसालों के साथ बनाया जाता है। चटनी के साथ परोसें या ऐसे ही खाएं ।
ओरोटी ओर पोल रोटी
चावल के आटे और नारियल से बनी ओरोटी को तमिलनाडु के कुछ हिस्सों में पोल रोटी कहा जाता है और यह केरल का एक लोकप्रिय नाश्ता है। आपको बस इतना करना है कि चावल का आटा, नारियल और नमक का आटा गूंथ लें और उसकी रोटियां बना लें! इसके मीठे संस्करण के लिए नमक की जगह चीनी का भी इस्तेमाल किया जा सकता है।
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पैरोटा
पैरोटा या परोठा एक परतदार चपटी परांठा (फ्लैटब्रेड) है जो मैदा या आटे से बनाया जाता है, जिसे वैकल्पिक रूप से परतदार रिबन पैनकेक के रूप में भी जाना जाता है। यह केरल, तमिलनाडु में बहुत आम है। इसे मालाबार पराठे के नाम से भी जाना जाता है ।
मैंने अपने इस लेख मे कुछ लोकप्रिय चैनल के वीडियो के जरिए रोटी के स्वरूप और स्वाद को दिखने का प्रयास किया है । आशा करता हूँ कि आप को मेरा यह लेख बहुत पसंद आएगा ।
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